Nose Bleeding in Hindi - नाक से खून आना कारण और प्राथमिक चिकित्सा
कई लोगों के नाक से अनावश्यक रूप से खून आने की समस्या होती है. हलांकि अलग-अलग लोगों में इसके अलग-अलग कारण होते हैं. कई बार किसी अस्थायी कारणों से ऐसा होने पर ये स्वतः ठीक भी हो जाता है. लेकिन यदि आपके नाक से बार-बार या ज्यादा समय तक खून निकलता है तो आपको तुरंत किसी क=चिकित्सक से परामर्श करना चाहिए. आज इस विषय पर बात करते हुए हम आपको नाक से खून आने के कारण और प्राथमिक चिकित्सा के बारे में बताने जा रहे हैं.
नाक से खून आने के कारण
हमारी नाक में कई प्रकार की रक्त वाहिकाएं होती है. यह रक्त वाहिकाएं बहुत नाजुक होती है और पतली झिल्ली से ढंकी होती है. जिस पर नाखून या अन्य प्रकार के चोट से जैसे जोर से नाक साफ करने पर या एलर्जी के कारण सर्दी या फुंसी होने से झिल्ली फट जाती है एवं खून आने लगता है. नाक से खून आने के कई कारण हो सकते हैं और अक्सर इस समस्या के लिए चिकित्सा की भी जरूरत नहीं होती है.
1. साइनाइटिस
साइनस की सूजन नाक की झिल्ली में सूखापन लाकर नकसीर पैदा कर देती है. यह समस्या वायरल या बैक्टीरियल संक्रमण के कारण होती है. साइनसाइटिस की समस्या एलर्जी या पर्यावरण में मौजूद धूल-मिट्टी और बढ़ जाती है. साइनसाइटिस के दो प्रकार का होते है. पहला एक्यूट और दूसरा क्रोनिक. इन समस्याओं को रोकने के लिए आपको बलगम झिल्ली में सूजन को कम करने के उपाय करने होगें. इसके लिए आप सर्दी खांसी की दवा का इस्तेमाल कर सकते हैं.
2. एलर्जी
कई बार एलर्जी के कारण भी नाक से खून बहने की समस्या हो सकती है. एलर्जी आपकी नाक को अधिक भीगा हुआ बनाकर नकसीर का कारण बन सकती है. रिनोरिया में लगातार जलन, नाक का बहना, नाक को लगातार मलने से नाक के टिश्यु में टूट-फूट होने लगती है. जिससे उनसे खून बहने लगता है. इस दौरान एलर्जी को नियंत्रण में रखना सबसे ज्यादा जरुरी है.
3. शुष्क हवा
गर्मी के कारण खून की ये नलियॉं फैल जाती हैं. इन दो कारकों से नाक की झिल्ली शुष्क होकर खून के बहाव और संक्रमण के प्रति अतिसंवेदनशील हो जाती हैं. नाक से खून आने की समस्या को रोकने के लिए गर्मी से दूर रहें. ड्राई हीट कम होने से नकसीर की आशंका को कम किया जा सकता है. इसके अलावा, नाक को सूखेपन से बचाने के लिए हाइड्रेटेड रहने और पर्याप्त मात्रा में तरल पदार्थ ते रहें.
4. एस्पिरिन और रक्त पतला करने वाली दवाएं
अक्सर खून को पतला करने वाली दवाएं जैसे एस्पिरिन, हिपारिन या वारफेरिन भी नकसीर का कारण बन सकती है. एंटी-कोऐग्यलन्ट लेने वाले लोगों में यह समस्या आम तौर पर देखी जाती है. अगर आप किसी एंटी-कोऐग्यलन्ट, उच्च रक्तचाप, या रक्त के थक्के विकार के लिए दवाओं का सेवन करते हैं तो आपको यह समस्या हो सकती है. नाक को प्रभावित करने वाले हल्की एलर्जी काउंटर दवा के साथ इसका इलाज किया जा सकता है.
5. नाक में उंगली डालना
नाक में बार-बार उंगली डालना, बच्चों में नाक से खून आने का सबसे आम कारण है. रक्त वाहिकाएं जो नाक की झिल्ली का सामने का हिस्सा है, उसमें सबसे जल्दी खून बहने लगता है. इन नाजुक रक्त वाहिकाओं में आघात से आसानी से खून बहने लगता है. बच्चों में लगातार नकसीर की समस्या खून विकार जैसे हीमोफीलिया का संकेत हो सकता है. हीमोफीलिया एक ऐसी अवस्था है जो खून के थक्के बनने की प्रक्रिया को धीमा करता है.
6. जुकाम
जुकाम नाक की परत में जलन पैदा करके नकसीर की आशंका को काफी हद तक बढ़ाने का काम करता है. शुष्क सर्द हवा के साथ नाक की परत में जलन नकसीर के लिए आदर्श स्थिति बनाता है. जुकाम होने पर नाक के नर्म टिश्यु के साथ जबरदस्ती न करें बल्कि इसे धीरे से साफ करें.
नाक से खून आने के लिए प्राथमिक उपचार
1. इस दौरान सबसे पहले आराम से बैठ जाएं.
2. फिर आपको सामने की ओर थोड़ा झुकना चाहिए ताकि खून आपके गले में न जाने पाए.
3. इसके बाद नाक पर ठंडा और गीला कपड़ा रखकर देखें ताकि रक्त नालिकाओं में संकुचन होकर खून का निकलना बंद हो जाए.
4. जब केवल एक नथुने से ही खून निकले तो नथुने के ऊपरी भाग को दबाए रखें.
5. इसके बावजूद यदि खून निकलना बंद नहीं हो रहा है तो इसे और 10 मिनट तक दबाकर रखें.
6. जा चोट की वजह से खून निकले तो इसे अधिक जोर से न दबाएं.
7. अंतः सभी चरणों को पूरा करने के बावजूद ये न थमे तो चिकित्सक के पास जाएँ.