प्रकृतिक उपचार से मुंह अल्सर को रोके
अल्सर होंठ, जीभ, मसूड़ों या गाल के अंदरूनी दर्दनाक घाव होते हैं. यह आम तौर पर आंत्र रोगों, हार्मोनल असंतुलन और तनाव के कारण होते हैं. जबकि घावों का इलाज करने के लिए दवाएं और मलम उपलब्ध हैं, आप अल्सर को स्वाभाविक रूप से भी ठीक कर सकते हैं.
बेकिंग सोडा के साथ कुल्ला - बेकिंग सोडा या नमक का इस्तेमाल मुँह कुल्ला करने के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है. गर्म पानी के गिलास में एक चुटकी नमक मिलाएं. अब अपने मुंह के अंदर पानी को स्वाइप करें और इसे कुल्ला कर दे. दिन में तीन बार ऐसा करें.
नारंगी का रस - नारंगी के रस में विटामिन सी होता है और अल्सर कभी-कभी इस विटामिन की कमी के कारण होता है, रस पीने फायदेमंद साबित हो सकता है.
मुंह को साफ रखें- मुलायम ब्रिस्टल के साथ टूथब्रश का उपयोग करे. यह भी सुनिश्चित करें भोजन करने के बाद आप दोबारा ब्रश करें. इसीलिए की मुंह में कुछ रह ना जाए.
मसालों से बचें - मसालेदार, अम्लीय और गर्म भोजन खाने से बचें.
गर्म पेय - चाय और कॉफी से बचा जाना चाहिए. दूसरी ओर दही और मक्खन, अत्यधिक फायदेमंद हैं.
प्याज लें - कच्चे प्याज में सल्फर होता है जो आपके मुंह के अंदर स्वास्थ्य के लिए अच्छा होता है.
आमला का उपभोग करें - भारतीय हंसबेरी (आमला) का पेस्ट बनाएं और इसे अल्सर पर लागू करें. यह त्वरित राहत और उपचार प्रदान करता है.
मांस से बचें - पशु प्रोटीन शरीर में अम्लता को बढ़ाता है. तो, मछली और मांस से बचें.
गर्जल - दिन में लगभग तीन से चार बार ताजा नारियल का पानी का उपयोग करें. यह मुंह को साफ करता है और दर्द को कम करता है.
To view more such exclusive content
Download Lybrate App Now
Get Add On ₹100 to consult India's best doctors