Grapefruit (Chakotara) Benefits and Side Effects in Hindi - चकोतरा के फायदे और नुकसान
संतरे और नींबू के प्रजाति का ही फल है चकोतरा. लेकिन इसमें संतरे की बजाए सिट्रिक एसिड अधिक और शर्करा कम होती है. इसमें नींबू और संतरे के सभी गुण मौजूद होते हैं. स्वाद में खट्टा और कुछ मीठा लगने वाला चकोतरा की खेती सबसे पहले भारतीय उपमहाद्वीप और दक्षिणपूर्वी एशिया क्षेत्र में शुरू की गई थी. चकोतरा में पोटेशियम और लाइकोपीन के अलावा और भी कई पोषक तत्व और विटामिन मौजूद होते हैं. इनमें कैल्शियम, शर्करा, फॉस्फोरस, और विटामिन ए एवं सी प्रमुख हैं. आइए चकोतरा के फायदे और नुकसान को समझें.
1. आँखों के लिए
चकोतरा हमारे आँखों के लिए काफी महत्वपूर्ण है. गुलाबी और लाल रंग के चकोतरा में बड़ी मात्रा में बीटा कैरोटीन पाया जाता है. बीटा कैरोटिन हमारे आँखों के स्वास्थ्य के लिए आवश्यक तत्व है. इसमें पाया जाने वाला विटामिन ए और फ्लेवोनोइड एंटीऑक्सिडेंट जैसे कि नारीरेनिन और नॉररीनिंग भी आँखों के लिए फायदेमंद है.
2. बालों के लिए
इसमें पाया जाने वाला विटामिन सी कई तरह से हमारे बालों के लिए लाभकारी साबित होता है. दरअसल विटामिन सी एक एंटीऑक्सिडेंट है जो कि बालों के वृद्धि और विकास के लिए एक आवश्यक तत्व है. इसके अलावा ये बालों से रुसी और अन्य समस्याओं को भी ख़त्म करता है.
3. बुखार में
चकोतरा बुखार में भी काफी उपयोगी है. इसमें बहुमूल्य और प्राकृतिक 'क्विनिन' होता है जो मलेरिया के उपचार में मुख्य भूमिका निभाता है. इसके अलावा क्विनिन एक प्रकार का अल्कोअलॉइड है जो मलेरिया के इलाज के साथ साथ ही गठिया और पैर की ऐंठन के उपचार में भी लाभकारी है. इसके लिए चकोतरा के पल्प या रस का इस्तेमाल किया जा सकता है.
4. पेट की समस्याओं के लिए
चकोतरा के सेवन से हम पेट की समस्याओं से भी निपट सकते हैं. इसका ताजा रस पाचन के बाद एक क्षारीय प्रभाव उत्पन्न करता है. इसलिए ये शरीर में एसिड गठन को रोककर कई समस्याओं को ख़त्म करता है. अपच में भी इसके रस से काफी लाभ मिलता है. इसमें मौजूद फाइबर और वेजटेटिव पल्प आंतों के लिए बल्क जोड़ता है और आपके शौच जाने को नियंत्रित करता है. कब्ज की समस्या से बचने के लिए आप इसके रस का सुबह खाली पेट इस्तेमाल कर सकते हैं.
5. थकान को करे दूर
थकान मिटाने और अनिद्रा जैसी बीमारी में भी चकोतरा काफी उपयोगी है. इसके रस में नॉटकेटन नाम का एक बहुत दुर्लभ और महत्वपूर्ण यौगिक पाया जाता है. जो कि हमारे शरीर के ऊर्जा और सहनशक्ति में वृद्धि करता है. इसमें मौजूद ट्रिप्टोफान हमारे नींद से संबंधित समस्याओं को भी दूर करता है.
6. मूत्र विकार का उपचार
मूत्र विकार को दूर करने में भी चकोतरा काफी उपयोगी फल है. ये किडनी के पथरी और रक्तचाप में भी काफी उपयोगी है. इसके रस में पोटेशियम और विटामिन सी प्रचुर मात्रा में पाया जाता है. विटामिन सी मूत्र पीएच को बढ़ाने और जिस दर पर साइट्रिक एसिड को स्रावित किया जाता है, उसे तेज करने में मदद करता है. इसकी वजह से हमें बनने वाला कैल्शियम पथरी के खतरे को कम करता है.
7. कैंसर के उपचार में
इसमें पाया जाने वाला फ्लेवोनोइड शरीर में संक्रमण का और कार्सिनोजन के असर को कम करता है. इसके अलावा इसमें मौजूद फ्लेवोनॉइड और विटामिन ए फेफड़ों के कैंसर और मौखिक कैंसर से बचाने में मदद करता है.
8. गठिया का उपचार
इसमें पाया जाने वाला सैलिसिलिक एसिड शरीर के कैल्शियम को तोड़ने में मदद करता है. जो कि जोड़ों की कार्टिलेज को निर्मित करता है. गठिया के बेहतर उपचार के लिए चकोतरा के रस के साथ सेब का सिरका मिलकर पिएं.
9. कोलेस्ट्रॉल को कम करने में
चकोतरा में मौजूद एंटीऑक्सिडेंट हमारे शरीर से कोलेस्ट्रॉल स्तर को घटाने में भी उपयोगी होता है. नियमित रूप से चकोतरा का सेवन कोलेस्ट्रॉल का स्तर 15% और ट्राइग्लिसराइड का स्तर 17% तक कम कर सकता है.
10. लिवर की के लिए
लीवर में बनने वाले कई तरह के विषाक्त पदार्थों को चकोतरा में मौजूद सफाई एजेंट हटा देते हैं. इसमें लिमोनाइड नाम का एंटीऑक्सिडेंट और फाइटो पोषक तत्व भी पाया जाता है जो कि विषाक्त पदार्थों को इक्स्क्रीट करने में मदद करता है. जिससे उन्हें पानी में अधिक घुलनशील बनाया जा सकता है.
11. वजन कम करने में
चकोतरा में भरपूर मात्रा में फाइबर मौजूद होता है. जो कि भूख को कोलेसाइटोकिनिन नाम के पाचक रस को नियंत्रित करने वाले हारमोन को स्त्रावित करके भूख को संतुष्ट करता है. चकोतरा के सेवन से इंसुलिन कम होता है, इस प्रकार यह चीनी को संग्रह करने और वसा को बदलने की जगह, इसका इस्तेमाल ईंधन के रूप में करता है. इस वजह से वजन घटाने की संभावना बढ़ जाती है.
12. त्वचा के लिए
चकोतरा में विटामिन ए और सी, खनिज और एंटी ऑक्सीडेंट भी पर्याप्त मात्रा में पाया जाता है. विटामिन सी और एंटीऑक्सिडेंट प्रभाव त्वचा को पर्यावरणीय खतरों से बचाने के साथ ही स्किन कोलेजन के उत्पादन को उत्तेजित करता है. जो कि त्वचा को चिकनाई और लोच प्रदान करके इसे कोमलता प्रदान करता है.
चकोतरा के नुकसान
- चकोतरा के रस में कुछ दवाओं के असर को कम करने वाले रसायन पाए जाते हैं इसलिए इसके रस का इस्तेमाल सावधानी से करें.
- इसका प्रयोग किसी चिकित्सक के परामर्श से ही करना उचित रहेगा.