जीभ का सफेद होना - Jeebh Ka Safed Hona!
आमतौर पर कई लोग अपनी जीभ के स्वास्थ्य को लेकर ज्यादा गंभीर नहीं होते है. जबकि जीभ का सफेद होना विभिन्न प्रकार की बिमारियों की तरफ संकेत करता है. जीभ पर मलबे, बैक्टीरिया और डेड सेल्स का एक कोटिंग है जो इसे सफेद दिखाती है. कई बार जीभ पूरी तरह सफेद होती है, तो कई बार जीभ में सफ़ेद धब्बे नजर आते हैं. हालाँकि, जीभ का सफेद होना कोई चिंता का कारण नहीं होता, लेकिन कई दुर्लभ स्थिति में यह प्रारंभिक कैंसर की तरह अधिक गंभीर स्थिति की ओर इशारा कर सकता है. इसलिए जीभ का सफेद होना को कभी भी नजर अंदाज नहीं करना चाहिए. इसके कई कारण हो सकते हैं. इसलिए जरुरी है कि जीभ का सफेद होना के कारण को पहचाने और समय रहते इसका निदान कराएं.
क्या है कारण?
सफेद जीभ आपकी जीभ की सतह पर उंगली के अनुमानों की तरह दिखने वाले (पैपिल) की अत्यधिक वृद्धि और सूजन के परिणामस्वरुप होता है. सफेद कोटिंग की उपस्थिति बैक्टीरिया, डेड सेल्स और मलबे के कारण होती है जो कभी-कभी सूजन वाले पैपिले के बीच जमा हो जाती है.
पैपिली हाइपरट्रोफी के कारणों में निम्न कारण शामिल हैं:
* खराब ओरल हेल्थ
* ड्राई माउथ या मुंह सूखना
* डिहाइड्रेशन
* स्मोकिंग या अन्य ओरल टोबैको उत्पादों का इस्तेमाल करना
* शराब का ज्यदा सेवन
* मुंह से सांस लेना
* बुखार
* कम डोज़ वाले आहार
सफेद पैच या जीभ के अन्य डिसऑर्डर के साथ जुड़े स्थितियों में निम्न कारण शामिल हैं:
* कुछ मेडिसिन के इस्तेमाल, जैसे कि लम्बे समय तक एंटी बायोटिक दवाओं का इस्तेमाल जिससे यीस्ट इन्फेक्शन हो सकता है.
* ओरल थ्रश- यह बीमारी डायबिटीज रोगियों में ज्यादा देखने को मिलता है. इसके इलावा जिनका इम्यून सिस्टम कमज़ोर हो. विटामिन बी और आयरन की कमी से भी ओरल थ्रश हो सकता है.
* ल्युकोप्लाकिया- इस स्थिति में मुंह के अंदर मसूड़ों में सफ़ेद धब्बे हो जाते है. यह उन लोगों में ज्यादा देखने को मिलता है जो बहुत ज्यादा स्मोकिंग करते हैं या तम्बाकू का सेवन करते है. साथ ही कुछ गंभीर स्थिति में कैंसर भी हो सकता है.
* ओरल लिकेंस प्लानस- इम्यून सिस्टम में समस्या आने से भी जीभ का सफ़ेद होना हो सकता है. कई बार तो मसूड़ों में छाले तक पड़ जाते हैं.
* सिफिलिस- यह यौन संचारित रोग है. इससे भी मुंह के अन्दर छाले हो जाते है. अगर इस बीमारी का इलाज न कराया जाए तो इससे भी जीभ का सफ़ेद होना हो सकता है.
* इसके अलावा माउथ कैंसर, जीभ कैंसर और एचआईवी/ एड्स जैसे गंभीर बिमारियों के कारण भी जीभ का सफ़ेद होना हो सकता है.
उपचार
* ल्यूकोप्लेकिया को उपचार की जरुरत नहीं होती है. यह स्वतः ही ठीक हो जाता है. हालाँकि यह सुनाश्चित करने के लिए कि स्थिति गंभीर तो नहीं, अपने डॉक्टर से नियमित चेकअप करवाएं.
* सफेद धब्बे को साफ करने के लिए स्मोकिंग, टोबैको, शराब इत्यादि से दूर रहना चाहिए.
* ओरल थ्रश का एंटी-फंगल के साथ ट्रीटमेंट किया जाता है.यह दवा कई रूपों में उपलब्ध है, जैसे जेल या लिक्विड जो की आप मुंह में में लगाया जाता है.
* सिफिलिस का पेनिसिलिन की एक डोज़ के साथ निदान किया जाता है.यह एंटीबायोटिक बैक्टीरिया को मारता है जो कि सिफिलिस का कारण बनता है. यदि आपको एक साल से ज्यादा समय तक सिफिलिस हुआ हाही तो आपको एंटी बायोटिक की एक से अधिक खुराक लेने की जरुरत हो सकती है.
जीभ का सफेद होने से बचाव-
* सॉफ्ट टूथ ब्रश का इस्तेमाल करना
* फ्लोराइड टूथ पेस्ट का प्रयोग करें
* रोजाना दो बार ब्रश करें
* फ्लोराइड माउथ वाॅश का रोजाना इस्तेमाल करें