माइग्रेन के लक्षण - Migraine Ke Lakshan!
एक होता है सिरदर्द और दूसरा है माइग्रेन. सिरदर्द तो फिर भी लोग सहन कर लेते हैं, लेकिन माइग्रेन का शीघ्र इलाज बहुत जरुरी है. इसमें सिर में तेज दर्द होता है जिसका सहन करना बहुत मुश्किल है. ऊपर से सूरज की बढ़ती रौशनी के साथ दर्द भी बढ़ता जाता है. हलांकि माइग्रेन के ट्रीटमेंट के लिए बेहतर है कि आप डॉक्टर से सलाह लें, लेकिन आप कुछ घरेलू उपचार करके इससे काफी हद तक राहत पा सकते हैं. आइए इस लेख के माध्यम से हम माइग्रेन के के लक्षणों पर एक नजर डालें ताकि इस बीमारी को लोग समय रहते पहचान सकें और इससे होने वाले क्षति से बच सकें.
माइग्रेन के लक्षण-
1. सिर में फड़कता हुआ माइग्रेन दर्द ज्यादातर सिर के एक हिस्से से शुरू होता है.
2. जो लोग माइग्रेन के सिरदर्द से पीड़ित हैं वे आमतौर पर नियमित गतिविधियों को करने में असमर्थता, आंखों में दर्द, मतली और उल्टी भी अनुभव करते हैं.
3. वे प्रकाश, ध्वनि और गंध परिवर्तनों के प्रति अति संवेदनशील हो सकते हैं.
4. दिन भर बेवजह उबासी आना भी माईग्रेन का लक्षण है.
5. माइग्रेन सिरदर्द से पीड़ित लोगों को ऑरा (Aura) का अनुभव होता है.
6. उन्हें संवेदना की अस्थायी कमी या पिंस और सुईया चुभने की भावना महसूस होती है.
7. माईग्रेन का दर्द होने पर नींद अच्छे से नहीं आती है. थकान महसूस होती है लेकिन नींद नहीं आती है.
8. माईग्रेन के दौरान आंखों में भी भयानक दर्द होता है. पलकें झपकाने में भी बहुत जलन होती है.
9. सिरदर्द के साथ मतली, उल्टी आना भी माईग्रेन के लक्षण होते हैं.
10. माईग्रेन के दौरान मूड में परिवर्तन बहुत तेजी से होता है. कुछ मरीज़ अचानक बिना किसी के कारण बहुत ही उदास महसूस करते हैं या कभी ज्यादा उत्साहित हो जाते हैं.
11. माइग्रेन का दर्द होने से पहले, कुछ लोगों की खाद्य पदार्थों के लिए लालसा बढ़ जाती है.
12. नियमित गतिविधियों जैसे घूमना या सीढ़ियों पर चढ़ने से माइग्रेन का दर्द बदतर भी हो सकता है.
13. माईग्रेन में बार-बार मूत्र त्याग की आवश्यकता अनुभव करना भी इसका एक लक्षण है.
माइग्रेन को दूर करने के घरेलू उपाय-
1. पत्तेदार सब्जियां-
माइग्रेन के घरेलु उपचार में पत्तेदार सब्जियां प्रमुख हैं. आप कहेंगे कि ऐसा क्या है पत्तेदार सब्जियों में तो आपको जानना चाहिए कि पत्तेदार सब्जियों में प्रचुर मात्रा में मैग्नीशियम पाया जाता है. मैग्नीशियम की पर्याप्त मात्रा में मौजूदगी माइग्रेन से राहत प्रदान करती है. इसके साथ ही यदि आप कुछ साबुत अनाज जैसे कि दलिया या फिर समुद्री जीव आदि भी ले सकते हैं.
2. नींद जरुरी है-
माइग्रेन के उपचार में नींद की भी महत्वपूर्ण भूमिका होती है. इसलिए माइग्रेन से पीड़ित व्यक्ति के लिए पर्याप्त नींद लेना महत्वपूर्ण है. ऐसे लोगों को कोशिश करनी चाहिए कि शोरगुल से मुक्त वातारण में 7-8 घंटे की नींद लें. ऐसा इसलिए ताकि आपको गहरी नींद आ सके. गहरी नींद में सोने से माइग्रेन पीड़ित व्यक्ति को राहत मिलती है.
3. कसरत भी जरुरी है-
कसरत तो हमें कुछ नहीं भी होने पर करना ही चाहिए. माइग्रेन के घरेलु उपचार में व्यायाम की भूमिका महत्वपूर्ण है. इसका कारण ये है कि कसरत या योग करने से तनाव काफी हद तक दूर होता है. जब तनाव दूर हो जाता है तो माइग्रेन से भी राहत मिलती है. इसलिए माइग्रेन पीड़ित व्यक्ति प्रतिदिन व्यायाम करें.
4. जंक फूड को कहें ना-
जंक फ़ूड कई रोगों का जड़ बनता जा रहा है. फास्ट फ़ूड या डिब्बा बंद भोजन का हाल भी कुछ ऐसा ही है. माइग्रेन के उपचार के लिए ये बेहद जरुरी है कि आप जंक फ़ूड और पनीर, चॉकलेट, केले आदि से भी दूर रहें. क्योंकि इसमें पाए जाने वाले तत्व माइग्रेन रोगियों की परेशानी बढ़ाते हैं. इसलिए जहां तक हो सके घर का खाना खाएं.
5. अदरक भी लड़ता है माइग्रेन से-
अपने बेहतरीन औषधीय गुणों से भरपूर अदरक आपके लिए माइग्रेन में भी राहत देता है. इसकी एक ख़ास बात ये भी है कि अदरक को आप खाने या चाय में भी स्वादानुसार डाल कर ले सकते हैं. इसके अलावा यदि आप ऐसे अदरक नहीं खा सकते हैं तो अब बाजार में अदरक के कैप्स्यूल भी मिलते हैं. इससे माइग्रेन के दौरान होने वाली मितली से आपको राहत मिलेगी.
6. तेज रोशनी से दूर रहें-
तेज रौशनी और माइग्रेन के बीच गहरी संबंध है. इसलिए आपको तेज रौशनी से बचकर रहना चाहिए. आपको इस बात का ध्यान रखना चाहिए कि जहां आपको सोना या बैठना हो वहां पर आस-पास रौशनी न आने पाए. यदि आप अँधेरे कमरे में सोएंगे तो और बेहतर है. जहाँ तक हो सके आपको सूरज की सीधी पड़ने वाली रौशनी से बचना चाहिए.
7. पिपरमेंट का तेल-
पिपरमेंट का तेल भी माइग्रेन में काफी राहत प्रदान करता है. माइग्रेन की परेशानी को कम करने के लिए इसके मरीजों को हफ्ते में लगभग तीन बार पिपरमेंट के तेल से सर में मालिश करवानी चाहिए. इससे सर में ठंडक तो होती ही है, तेज दर्द से भी राहत मिलती है. जिससे कि आपका तनाव कम हो जाता है.
8. मछली खाएं-
माइग्रेन पीड़ितों को मछली भी भरपूर मात्रा में खानी चाहिए. क्योंकि मछली में ओमेगा 3 नाम का फैटी एसिड पाया जाता है जो कि शरीर के लिए कई मामलों में फायदेमंद होता है. आपको बता दें कि ओमेगा 3 फैटी एसिड माइग्रेन का दर्द पैदा करने वाली सनसनाहट को कम करता है.
9. दूध भी है माइग्रेन का घरेलु उपचार-
माइग्रेन के उपचार में दूध भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है. लेकिन इसमें ध्यान रखने वाली बात ये है कि जो दूध आप इस दौरान लेंगे वो वसा रहित हो. इस दौरान वसा रहित दूध या फिर इससे बनें उत्पादों का भी आप सेवन कर सकते हैं. दूध के उत्पादों में विटामिन बी (राइबोफ्लेविन) अधिक मात्रा में रहता है, जिससे शरीर की कोशिकाओं को मजबूती मिलती है. सिर की कोशिकाओं को ऊर्जा नहीं मिलने पर ये कमजोर हो जाती.
10. चिंता न करें-
माइग्रेन जिसमें आपके सर में असहनीय दर्द होता है, का मुख्य कारण चिंता करना, देर रात तक काम करना, मानसिक दुर्बलता, जुकाम, नजला, कब्ज, मलेरिया आदि हो सकता है. एक तथ्य ये भी है कि महिलाओं में माइग्रेन की समस्या पुरुषों के मुकाबले ज्यादा पाई जाती है. कारण ये है कि उनमें हिस्टीरिया, अधिक शारीरिक या मानसिक कार्य करने के कारण, सदमा लगने, बेवजह परेशान पेरशान होने से ये समस्या उत्पन्न होती है.